अल्लाह की रहमत से ना उम्मीद मत होना
ऐसा नहीं है कि ज़िन्दगी के आंगन में सिर्फ़ ख़ुशियों के ही फूल खिलते हैं, दुख-दर्द के कांटे भी चुभते हैं... कई बार उदासियों का अंधेरा घेर लेता है... ऐसे में कुछ चीज़ें हुआ करती हैं, जो उम्मीद की रौशनी बनकर हिम्मत बढ़ाती हैं... और हाथ थाम कर रौशनी की सिम्त ले चलती हैं... क़ुरान की ऐसी ही एक आयत है-
ﻻ ﺗَﻘْﻨَﻄُﻮﺍ ﻣِﻦ ﺭَّﺣْﻤَﺔِ ﺍﻟﻠَّﻪِ
La Taqnatu Min Rahmatillah
Don't Lose Hope In ALLAH's Mercy
यानी अल्लाह की रहमत से ना उम्मीद मत होना
जब भी मन उदास होता है, तो इसे याद कर लेते हैं...
यक़ीनन आपके पास भी ऐसा कुछ होगा, जो मुसीबत में आपका सहारा बनता हो...
चाहें, तो शेयर कर सकते हैं...
(Firdaus Diary)
ﻻ ﺗَﻘْﻨَﻄُﻮﺍ ﻣِﻦ ﺭَّﺣْﻤَﺔِ ﺍﻟﻠَّﻪِ
La Taqnatu Min Rahmatillah
Don't Lose Hope In ALLAH's Mercy
यानी अल्लाह की रहमत से ना उम्मीद मत होना
जब भी मन उदास होता है, तो इसे याद कर लेते हैं...
यक़ीनन आपके पास भी ऐसा कुछ होगा, जो मुसीबत में आपका सहारा बनता हो...
चाहें, तो शेयर कर सकते हैं...
(Firdaus Diary)
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